nb-2024-06-28-part-02-पतितन-पावन कृष्ण राधावर रमण बिहारी राधे श्याम // मेरी महारानी श्रीराधा रानी

Maan Mandir
Maan Mandir
1.1 هزار بار بازدید - 2 هفته پیش - पतितन-पावन कृष्ण राधावर रमण बिहारी
पतितन-पावन कृष्ण राधावर रमण बिहारी राधे श्याम
राधा कृष्ण दोऊ नाम अमिय रस, राधापति जै जै घनश्याम |
जनमन भावन कृष्ण राधावर, रास बिहारी राधे श्याम ||
राधा गोरी घटा रसीली श्याम घटा सो मिली ललाम |
ब्रज-रस बरसन कृष्ण राधावर युगल बिहारी राधे श्याम ||

मेरी महारानी श्रीराधा रानी |
जाके बल मैं सबसौं तोरी लोक वेद कुल कानी |
प्राण जीवन धन लाल बिहारी को वारि पियत नित पानी |
भगवत रसिक सहायक सब दिन सर्वोपरि सुखदानी ||

राधिकोपनिषद् -
चक्रं चक्री शूलमादाय शूली पाशं पाशी वज्रमादाय वज्री ।
धावन्त्यग्रे पृष्ठतो बाह्यतश्च राधा राधा वादिनो रक्षणाय ॥

जाके प्रिय न राम-बैदेही।
तजिये ताहि कोटि बैरी सम, जद्यपि परम सनेही ॥ १ ॥
तज्यो पिता प्रहलाद, बिभीषन बंधु ,बंधुभरत महतारी।
बलि गुरु तज्यो कंत ब्रज-बनितन्हि, भये मुद -मंगलकारी ॥ २ ॥
नाते नेह रामके मनियत सुहृद सुसेब्य जहाँलों।
अंजन कहा आँखि जेहि फूटै , बहुतक कहौं कहाँलौं ॥ ३ ॥
तुलसि सो सब भाँति परम हित पूज्य प्रानते प्यारो।
जासों होय सनेह राम-पद, एतो मतो हमारो ॥ ४ ॥
2 هفته پیش در تاریخ 1403/04/08 منتشر شده است.
1,196 بـار بازدید شده
... بیشتر